बिना परामर्श कभी न करे रत्न ,धारण हो सकता है नुकसान


बिना परामर्श कभी न करे रत्न ,धारण हो सकता है नुकसान
पंडित रामेन्द्र मिश्र 
 रत्न पहनने से लाभ एवं सौभाग्य में वृद्धि होती है।लेकिन ज्योतिष शास्त्र के विशेषज्ञों से परामर्श किए बिना रत्न धारण करना अनिष्ट कारक भी हो सकता है।रत्न दुर्लभ और मूल्यवान होने के कारण जनसामान्य के उपयोग के बाहर हैं। संपन्न लोग ही रत्नों का उपयोग कर पाते हैं, किंतु यह आवश्यक नहीं है कि समस्त रत्न सभी के लिए अनुकूल हों। रत्न धारण से शोभा वृद्धि हो सकती है, परंतु लाभ भी होगा यह जरूरी नहीं। रत्न धारण करने से पहले ज्योतिष के मान्यता प्राप्त हो जाए, तभी अच्छा है।
इसके पीछे रश्मि सिद्धांत और समय विज्ञान की बारीकियां काम आती है पर्यावरण का प्रभाव रत्न धारण के समय अनुकूल प्रतिकूल परिस्थितियों का जनक होता है। उसी से सामंजस्य करके ज्योतिर्विद्या परामर्श देते हैं कि किस समय कौन सा रत्न धारण करना चाहिए। ताकि वह अंतरिक्ष से प्रसारित अदृश्य किरणों ग्रहीय प्रभाव तथा पर्यावरण या प्रतिक्रिया के अनुकूल सिद्ध हो सके। यदि ऐसा न हो सका तो आशंका रहती है कि रत्न धारक के लिए संबंधित रत्न क्लेश वर्धक में हो जाए।


Post a Comment

Previous Post Next Post

प्रेस विज्ञप्ति व विज्ञापन के लिये ,हमें ईमेल करे editordharasakshi@gmail.com