विशिष्टताएं:
- लीडआईटी शिखर सम्मेलन वक्तव्य 2022 लॉन्च किया गया
- लीडआईटी सदस्यों ने निम्न-कार्बन परिवर्तन को आगे बढ़ाने की प्रतिबद्धता पर फिर से बल दिया।
- निम्न कार्बन परिवर्तन के लिए सह-विकास ही एकमात्र विकल्प : श्री भूपेंद्र यादव
भारत और स्वीडन ने सीओपी27 से अलग लीडआईटी शिखर सम्मेलन का आयोजन किया। लीडआईटी (उद्योग परिवर्तन के लिए नेतृत्व) पहल का फोकस औद्योगिक क्षेत्र के कम कार्बन परिवर्तन पर है। भारत के पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री भूपेंद्र यादव, स्वीडन की जलवायु और पर्यावरण मंत्री सुश्री रोमिना पौरमुख्तारी तथा मिस्र की अंतर्राष्ट्रीय सहयोग मंत्री सुश्री रैना अल-मशत ने इस आयोजन में भाग लिया।
सीओपी27 में लीडआईटी शिखर सम्मेलन 2022 में केंद्रीय मंत्री श्री भूपेंद्र यादव
उद्घाटन भाषण के दौरान मंत्री श्री भूपेंद्र यादव ने भारत में लीडआईटी की गतिविधियों की चर्चा की, जिसमें भारत में सीमेंट और स्टील क्षेत्र के लिए किए गए रोड मैपिंग कार्य पर विशेष ध्यान दिया गया है। उन्होंने कहा कि भविष्य में इसी प्रकार के अभ्यास लीडआईटी के अन्य सदस्य देशों में किए जाने की संभावना है। उन्होंने इस बात पर बल दिया कि विश्व ने अपने लिए जो लक्ष्य निर्धारित किये हैं उन लक्ष्यों को पूरा करने के लिए सह-विकास ही एकमात्र विकल्प है। इसके बिना कम कार्बन परिवर्तन में दशकों का विलंब हो सकता है।
"औद्योगिक क्षेत्र का कम कार्बन संक्रमण न केवल आवश्यक ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन में कमी की दिशा में योगदान देगा। साथ-साथ इसके कई लाभ हैं जिनमें जलवायु में परिवर्तन के लिए बढ़ता लचीलापन, बढ़ी हुई ऊर्जा सुरक्षा, नवाचार, सामाजिक-आर्थिक विकास तथा रोजगार सृजन शामिल हैं", श्री भूपेंद्र यादव।
उन्होंने कहा कि लीडआईटी का वर्तमान चरण 2023 में समाप्त होने वाला है और अगला वर्ष अब तक के प्रदर्शन और उपलब्धियों को दिखाने का समय है। साथ ही, 2023 के बाद की प्रक्रिया पर विचार-विमर्श की जरूरत है ताकि प्राथमिकताओं को परामर्शी तरीके से चिन्हित किया जा सके।
इस कार्यक्रम में गोलमेज चर्चाएं की गईं, जो वित्त और अन्य विभिन्न क्षेत्रीय विषयों पर केंद्रित थीं। लीडआईटी सदस्यों, जिनमें देश और कंपनियां शामिल हैं, ने उद्योग क्षेत्र में अपनी पहल और और सफल निम्न-कार्बन संक्रमण के लिए आवश्यकताओं पर विचार साझा किये।
शिखर सम्मेलन का समापन लीडआईटी के सदस्यों द्वारा शिखर सम्मेलन के वक्तव्य को अपनाने के साथ हुआ। वक्तव्य में उद्योग के कम कार्बन संक्रमण को जारी रखने की प्रतिबद्धता पर फिर से बल दिया। सदस्यों ने नए सदस्यों और उभरती अर्थव्यवस्थाओं को तकनीकी सहायता देने की प्रतिबद्धता व्यक्त की। उभरते और विकासशील देशों में भारी उद्योगों के संक्रमण में निवेश कम करने के महत्व पर भी प्रकाश डाला गया।
शिखर सम्मेलन के बाद सीओपी27 में इंडिया पवैलियन में लीडआईटी शिखर सम्मेलन वकतव्य 2022 का सार्वजनिक लॉन्च किया गया, जिसमें सरकारी के प्रतिनिधियों, उद्योग, मीडिया और नागरिक समाज सहित व्यापक भागीदारी देखी गई।
लीडआईटी के बारे में :
द लीडरशिप ग्रुप फॉर इंडस्ट्री ट्रांजिशन (लीडआईटी) उन देशों और कंपनियों को एकत्रित करता है जो पेरिस समझौते की प्राप्ति की कार्रवाई के लिए प्रतिबद्ध हैं। इसे सितंबर 2019 में संयुक्त राष्ट्र जलवायु कार्रवाई शिखर सम्मेलन में स्वीडन और भारत की सरकारों द्वारा प्रारंभ किया गया था और इसे विश्व आर्थिक मंच का समर्थन है। लीडआईटी सदस्य यह मानते हैं कि ऊर्जा पर बल देने वाला उद्योग कम कार्बन मार्गों पर प्रगति कर सकता है जिसका लक्ष्य शून्य कार्बन उत्सर्जन प्राप्ति है।
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